E-Stamp Paper Uttar Pradesh : यूपी में एक अप्रैल से 10 से 25 हजार तक के सिर्फ ई स्टाम्प पेपर
कैबिनेट का फैसला : 5630 करोड़ रुपये के भौतिक स्टांप होंगे रद्दी
लखनऊ। 10 से 25 हजार रुपये मूल्य नक के भौतिक स्टाम्प पेपर चलन से बाहर होंगे। इनके स्थान पर ई-स्टाम्प का डी उपयोग किया जाएगा। पुराने स्टाम्प 31 मार्च 2025 तक मान्य होंगे, उसके वाद इन्हें स्वीकार नहीं किया जाएगा। सोमवार को यूपी कैबिनेट की बैठक में इससे संबंधित प्रस्ताव को मंजूरी के बाद 5630 करोड़ रुपये से अधिक के स्टाम्प चलन से बाहर होंगे।
लोकभवन में आयोजित कैबिनेट की बैठक में 19 प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने बताया कि बैठक में स्वास्थ्य, शिक्षा, परिवहन, शहरी विकास और कर्मचारी कल्याण से जुड़े कई अहम फैसले लिए गए।
स्टांप एवं पंजीयन मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रवीन्द्र जायसवाल ने बताया कि डिजिटल दौर में भौतिक स्टाम्प पेपरों की उपयोगिता कम हो रही है। किसी को एक लाख रुपये का स्टाम्प लगाना है तो 25-25 हजार के चार स्टाम्प खरीदने पड़ते हैं।
ई स्टाम्प एक ही पेपर में बन जाएगा। 31 मार्च के बाद जिनके पास भौतिक स्टाम्प पेपर बच गए हैं, उन्हें विभाग नियमानुसार वापस लेगा। उन्होंने बताया के वर्तमान में करीब 80 फीसदी ई स्टाम्प का प्रयोग हो रहा है।
रुकेगी धोखाधड़ी
स्टांप एवं पंजीयन मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रवीन्द्र जायसवाल ने बताया कि भौतिक स्टाम्प पेपर से फ्राड की कई घटनाएं सामने आने के बाद इन्हें चलन से बाहर करना जरूरी था। यह निर्णय स्टाम्प प्रणाली में पारदर्शिता लाने और गड़बड़ियों को रोकने के लिए लिया गया है।