कैशलेस इलाज, डीए भुगतान, पुरानी पेंशन बहाली समेत अन्य मांगों को लेकर पेंशनर्स व सेवानिवृत्त कर्मचारियों ने किया धरना- प्रदर्शन
🆕 अपडेट 19 अक्टूबर 2023
लखनऊ : कैशलेस इलाज, डीए भुगतान, पुरानी पेंशन बहाली समेत अन्य मांगों को लेकर बुधवार को पेंशनर्स व सेवानिवृत्त कर्मचारियों ने केडी सिंह बाबू स्टेडियम के सामने सरोजनी नायडू पार्क स्थित कर्मचारी नेता बीएन सिंह प्रतिमा स्थल पर धरना- प्रदर्शन किया।
सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर एसोसिएशन के बैनर तले आयोजित धरने में संगठन के प्रदेश अध्यक्ष अमरनाथ यादव व प्रधान संरक्षक बाबूलाल वर्मा ने कहा कि सरकार कैशलेस इलाज का प्रचार तो कर रही हैं, लेकिन कर्मचारियों को व्यवहारिक रूप में न तो कैशलेश इलाज मिल रहा। वरिष्ठ उपाध्यक्ष बीएल कुशवाहा ने अधिकतम 10 वर्ष पर राशिकृत पेंशन बहाल किए जाने और पेंशनर्स को 65, 70 व 75 वर्ष की आयु पर पांच, 10 व 15 प्रतिशत पेंशन वृद्धि प्रदान किए जाने की मांग की।
लखनऊ में 18 अक्तूबर को जुटेंगे प्रदेश भर के पेंशनर्स, वाजिब मांगों पर भी कोई सुनवाई नहीं होने से बढ़ी नाराजगी
लखनऊ । वाजिब मांगों पर भी कोई सुनवाई नहीं होने से नाराज प्रदेश के सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर्स 18 अक्तूबर को राजधानी लखनऊ में जुटेंगे। सभी कर्मचारी नेता सरोजनी नायडू मार्ग स्थित बीएन सिंह प्रतिभा स्थल पर एक दिवसीय शांतिपूर्ण धरना देंगे और प्रदर्शन करेंगे। इसका आयोजन सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर्स एसोसिएशन की ओर से किया गया है।
संगठन के प्रदेश अध्यक्ष अमरनाथ यादव, वरिष्ठ उपाध्यक्ष बीएल कुशवाहा एवं महामंत्री ओपी त्रिपाठी ने संयुक्त रूप से बताया कि इस उम्र में पेंशनर्स सेवानिवृत्त कर्मी को इलाज की सर्वाधिक आवश्यकता होती है। उनका न तो व्यावहारिक रूप से कैशलेश इलाज हो पा रहा है और न ही समय पर चिकित्सा प्रतिपूर्ति के बिलों का भुगतान मिल पा रहा है, जिससे भारी आर्थिक कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है।
राशिकृत पेंशन की भरपाई मौजूदा समय में 89 माह में हो जाती है पर पेंशनरों से जबरन वसूली 15 साल तक की जा रही है। इसी तरह जनवरी 2020 से जून 2021 तक 18 महीने के डीए/डीआर एरियर का भुगतान करने सहित 19 सूत्रीय मांगों पर राज्य सरकार ने अब तक कोई ध्यान नहीं दिया है।