पंद्रह वर्ष से ऊपर के बच्चों को टीका - फ्रंटलाइन वर्कर्स व बुर्जुगों को बूस्टर डोज, प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना के खिलाफ जंग को लेकर किए नए ऐलान
ओमीक्रोन के बढ़ते खतरे के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना के खिलाफ जंग को लेकर नए ऐलान किए हैं। नए साल में 15 साल से ऊपर के बच्चों को भी टीका लगेगा तथा स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं, अंग्रिम पंक्ति के कार्मिकों एवं 60 साल से अधिक उम्र के बीमार लोगों को टीके की एक और एहतियाती खुराक (बूस्टर डोज) दी जाएगी।
प्रधानमंत्री ने शनिवार रात ‘राष्ट्र के नाम संबोधन’ में कहा कि तीन जनवरी से 15 साल से अधिक उम्र के बच्चों को भी कोरोना केटीके लगाए जाएंगे। अभी देश में 18 साल से अधिक आयु के लोगों को ही टीके लगाने का प्रावधान है। करीब 20 मिनट के संबोधन में मोदी ने कहा कि इससे स्कूल जाने वाले बच्चों के अभिभावकों की चिंताएं दूर होंगी।
बता दें कि शनिवार को ही भारत के ड्रग कंट्रोलर ने कोवैक्सीन को 12-18 साल के बच्चों को लगाने की मंजूरी दी है। इससे कम उम्र के बच्चों के लिए इसके उपयोग पर निर्णय होना बाकी है।
प्रधानमंत्री ने दूसरी अहम घोषणा स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं एवं अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं जिसमें पुलिस, सेना, अर्धसैनिक बल और कोरोना प्रबंधन में जुटे अन्य लोग शामिल होते हैं, उन्हें एहतियाती खुराक लगाने को लेकर की है। नए साल में 10 जनवरी से उन्हें टीके की एक अतिरिक्त खुराक लगाई जाएगी। तीसरी घोषणा उन्होंने 60 साल से अधिक आयु के उन लोगों को एहतियाती खुराक देने के लिए की, जो विभिन्न प्रकार की बीमारियों से ग्रस्त हैं तथा कोरोना के लिहाज से ज्यादा संवेदनशील हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि डॉक्टर की सलाह पर उन्हें भी 10 जनवरी से कोरोना टीके लगाए जाएंगे।
प्रधानमंत्री ने कहा, इस साल की शुरुआत में 16 जनवरी से टीके को लगाने का काम शुरू हुआ था और आज तक 141 करोड़ टीके लगाये जा चुके हैं। गोवा, हिमाचल व उत्तराखंड जैसे पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण राज्यों में पहली खुराक100 फीसदी लोगों को लगाई जा चुकी है। दूरदराज के गांवों से से जब 100 फीसदी लोगों को टीका लगाने की सूचना मिलती है तो मन को बेहद संतोष मिलता है।
नेजल टीका जल्द, डरें नहीं,सतर्क रहें
प्रधानमंत्री ने कहा कि दुनिया के कई देशों में कोरोना के नए स्वरूप ओमीक्रोन की वजह से संक्रमण बढ़ा है लेकिन इससे डरने की जरूरत नहीं सिर्फ सावधान और सतर्क रहें। मास्क का उपयोग करें, थोड़ी-थोड़ी देर पर अपने हाथों को जरूर धोते रहें।
बेड-सिलेंडर मौजूद
देश में 1.40 लाख आइसीयू बेड, 90 हजार विशेष बेड बच्चों के लिए मौजूद हैं। चार लाख से ज्यादा ऑक्सीजन सिलेंडर राज्यों को भेजे गए हैं और 3000 से ज्यादा पीएसए ऑक्सीजन प्लांट काम कर रहे हैं, सरकार तत्परता से जुटी है।
करोड़ों को लाभ
एक रिपोर्ट के अनुसार देश में 15 से 18 साल तक की उम्र वाले करीब 8 करोड़ बच्चे व करीब तीन करोड़ स्वास्थ्यकर्मी और अग्रिम मोर्चे पर तैनात कर्मचारी हैं। 60 से ज्यादा उम्र के करीब ़11 करोड़ लोग हैं। इनमें से ज्यादातर को लाभ होगा।
कोरोना वैश्विक महामारी से लड़ाई का अब तक का अनुभव यही बताता है कि व्यक्तिगत स्तर पर सभी दिशानिर्देशों का पालन करना कोरोना से मुकाबले का बहुत बड़ा हथियार है और दूसरा हथियार है टीका है। - नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री