सक्रिय हुई यूपी सरकार : कर्मचारियों से संवाद की तैयारी, कई मामलों पर जल्द निर्णय लिए जाने की तैयारी
मुख्य सचिव की अध्यक्षता में मंगलवार को लंबी बैठक हुई। इसमें कार्मिक, वित्त व पेंशन सहित कई महत्वपूर्ण विभागों के अधिकारी शामिल हुए। इसमें पांच वर्ष से प्रतीक्षित कैशलेस इलाज की व्यवस्था को लागू करने, आउटसोर्सिंग पर नियुक्त कर्मियों को सेवा से न निकाले जाने का प्रावधान करने, एसीपी की विसंगति संबंधी शासनादेश को जल्द से जल्द संशोधित करने पर सहमति बन गई है।
पुरानी पेंशन पर कोई निर्णय नहीं हुआ। पर, पुरानी पेंशन और नई पेंशन के नफा-नुकसान व कर्मचारियों की आशंकाओं के समाधान पर गंभीर चर्चा हुई है। पूरे तथ्य उच्च स्तर पर रखने के बाद आगे की रणनीति तय की जाएगी। सरकार कर्मचारियों को किसी तरह संतुष्ट करना चाहती है।
इसलिए हो रही कवायद
प्रदेश के कर्मचारी लंबे समय से पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रहे हैं। विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कर्मचारियों ने भारी भीड़ जुटाकर अपने मुद्दे के प्रति एकजुटता साबित कर दी। इस मुद्दे पर कर्मचारियों के साथ नौकरी की लाइन में खड़े युवाओं का पूरा समर्थन दिखा। सरकार इस फीडबैक से सक्रिय हो गई है। कर्मचारियों ने खुला एलान किया है कि अगर पुरानी पेंशन बहाल नहीं हुई तो वे खुलकर पुरानी पेंशन बहाल करने का आश्वासन देने वाले का समर्थन करेंगे। किसान आंदोलन की तरह कर्मचारियों की मांग को नजरअंदाज कर रही सरकार इसके बाद सक्रिय हो गई और सभी मांगों पर विचार-विमर्श शुरू किया है।
सरकार ने कर्मचारियों की समस्याओं के समाधान के लिए कई कमेटियां गठित की हैं और मैं स्वयं लगातार कर्मचारी संगठनों के प्रतिनिधियों से बात कर उचित समस्याओं का समाधान सुनिश्चित करवा रहा हूं। सरकार कर्मचारियों का अहित नहीं होने देगी। सभी समस्याओं का उचित समाधान सुनिश्चित किया जाएगा। -राजेंद्र कुमार तिवारी, मुख्य सचिव