लखनऊ: केंद्र सरकार ने अगर कर्मचारियों के लिए सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू कीं, तो यूपी भी साथ-साथ अपने कर्मचारियों को उसी हिसाब से सैलरी दे सकेगा। यूपी सरकार ने बजट में पहले से ही इसका इंतजाम कर लिया है जिससे कर्मचारियों को चार महीने की सैलरी दी जा सके। बजट में डीए मद में पैसा बढ़ाकर रखा गया है ताकि आयोग की सिफारिश लागू होने पर कर्मचारियों को इंतजार न करना पड़े।
वित्त विभाग के प्रमुख सचिव राहुल भटनागर बताते हैं कि सातवें वेतन आयोग पर अभी केन्द्र सरकार ने कोई फाइनल फैसला नहीं लिया है, इसलिए इस मद में बजट में कोई पैसा नहीं रखा गया है। सातवां वेतन आयोग केन्द्र में लागू होने के बाद यूपी भी इसे लागू करेगा। अगर इसके लिए अनुपूरक बजट की जरूरत पड़ी, तो हम लाएंगे। इस बजट में हमने कर्मचारियों के डीए की मद में ज्यादा आवंटन किया है। इससे सिफारिशें लागू होने के बाद चार महीने तक बढ़ी हुई सैलरी दी जा सकती है। यूपी में करीब 16 लाख कर्मचारियों को इसका फायदा मिलेगा। इसकी पूरी तैयारी कर ली गई है।
बजट में कर्ज का जो बड़ा हिस्सा दिखा रहा है, उसकी एक बड़ी वजह बिजली कंपनियों का कर्ज सरकार द्वारा चुकाना है। बिजली कंपनियों का कर्ज चुकाने के लिए सरकार ने 40,000 करोड़ रुपये की व्यवस्था की है। वित्तीय अनुशासन के लिए सरकार लगातार कदम उठा रही है।